Uttrakhand Janmanch, a extreme
regional outfit of the state today announces that it will hold a chakka jam at
Chmba in district Tehri to block the Smagra Ganga Yatra of former C.M. and BJP
leader Uma Bharti. Janmanch alleges that Uma Bharti's journey from Ganga Sagar
to Gangotri is sponsored by RSS to hamper the development of this hill state.
Janmanch said that Uma Bharti and RSS both are opposing the construction of
hydro projects in Uttrakhand because they do not want a prosperous and financially
strong state at China border. RSS and
Uma Bharti both working on their exclusive agenda for the benefit of non hilly
state including U.P.,Bihar and Hariyana. Janmanch said Samagra Ganga is totally
anti hill as well as anti Uttrakhand. Janmanch fears that the success of Uma
Bharti's yatra would create a deep power crisis in Uttrakhand.
Uttrakhand Janmanch's secretary
General Rajen Todariya said in a press release issued today here in Dehradun
that Uttrakhand Janmanch decided to stop the yatra of Uma Bharti at Chamba,a
hilly township in district Tehri on Haridwar- Gangotri highway. He said we will
not allow Miss Bharti to continue her yatra to Gangotri. Janmanch will hold a
chakka jam on 25 th October. Janmanch leader said that the success of her yatra
would hamper the development of Uttrakhand badly. It will adversely affect the
future of Uttrakhand,he added. He said that RSS is behind this deep rooted conspiracy
against Uttrakhand . Uma Bharti has
shown clearly that she is anti hill and pro non hill states. RSS also do not
want a prosperous hill state because this organization favours a weak and financially
dependent state at Chinese border. Todariya said that the people of Uttrakhand
will not allow any body to hamper their future. No outsider would be allowed to
oppose hydro projects in Uttrakhand including Uma Bharti. He said U ma Bharti
is only a puppet of non hill states and
RSS. Janmanch's secretary general said
Uma Bharti has to face the anger of the people.
उमा भारती की यात्रा का विरोध करेगा जनमंच
उत्तराखंड जनमंच ने भाजपा नेता उमा भारती की गंगासागर से गंगोत्री यात्रा का विरोध का ऐलान करते हुए कहा है कि जनमंच 25 अक्तूबर को टिहरी जिले के चंबा में उमा भारती की यात्रा को रोकेगा। उत्तराखंड जनमंच ने उमा भारती की यात्रा को उत्तराखंड विरोधी करार देते हुए कहा है कि पहाड़ में बिजली और सिंचाई परियोजनाओं के विरोध में की जा रही इस यात्रा का मकसद आर्थिक रुप से उत्तराखंड को नष्ट करना है। जनमंच ने आरोप लगाया कि आरएसएस द्वारा प्रायोजित सुश्री भारती की यात्रा उत्तराखंड के जल संसाधनों को केंद्र सरकार और यूपी-बिहार के हित में उपयोग कराने के लिए की जा रही है। जनमंच ने कहा कि उमा भारती की यात्रा यदि कामयाब हुई तो उत्तराखंड में बिजली के लिए हाहाकार मच जाएगा। बिजली अभाव के कारण कारोबार और उद्योग तबाह हो जायेंगे और एक ही झटके में दो लाख से ज्यादा औद्योगिक कर्मचारी और व्यापारी बेरोजगार हो जायेंगे। उत्तराखंड जनमंच ने राज्य के हित में काम करने वाले सभी आंदोलनकारी संगठनों,राजनीतिक दलों और बुद्धिजीवियों से अपील की है कि उमा भारती की इस राज्य विरोधी मुहिम के खिलाफ 25 अक्तूबर को चंबा पहुंचे। जनमंच ने राज्य सरकार मांग की है कि वह उमा भारती की उत्तराखंड विरोधी यात्रा पर तत्काल पाबंदी लगाए।
आज यहां जारी एक प्रेस बयान में उत्तराखंड जनमंच के प्रमुख राजेन टोडरिया ने कहा है कि उमा भारती की यात्रा को प्रायोजित करने वाले आरएसएस के संगठन गंगा समग्र यात्रा ने इस बारे में एक किताब गंगा समग्र के नाम से निकाली है। इसमें कहा गया है कि गंगा और उसकी सहायक नदियां,गाड-गधेरे हर साल 36 करोड़ टन मिट्टी मैदान के खेतों में ले जाती है। इस यात्रा के जरिये उमा भारती की मांग है कि उत्तराखंड मेें गंगा,उसकी सहायक नदियों और गाड-गधेरों के प्रवाह में कोई रुकावट पैदा न की जाय ताकि यह मिट्टी बेरोकटोक हर साल मैदान के खेतों में पहंुचती रहे। जनमंच प्रमुख ने कहा कि उमा भारती और आरएसएस की यह मांग यदि केंद्र सरकार ने मान ली तो राज्य में भूमि संरक्षण, पनबिजली परियोजनायें,सिंचाई परियोजनायें ही नहीं बल्कि होटल, बोटिंग,रिवर राफ्टिंग के लिए भी केंद्र सरकार की मंजूरी लेनी होगी। उन्होने आरोप लगाया कि उत्तराखंड के प्रति उमा भारती और आरएसएस का यह रवैया क्षेत्रवादी दुराग्रह से प्रेरित है तथा इस मांग के जरिये आरएसएस और उमा भारती पिछले दरवाजे से राज्य के संसाधनों पर यूपी,बिहार,हरियाणा और केंद्र सरकार को काबिज कराना चाहते हैं। उन्होने आरोप लगाया कि राज्य पपुनर्गठन के वक्त राज्य के जल संसाधनों पर नियंत्रण करने के लिए केंद्र सरकार जो प्रावधान उत्तराखंड पर नहीं थोप सकी उसे वह अब आरएसएस और उमा भारती के जरिये राज्य पर लादना चाहती है। उन्होने कहा कि इस यात्रा का मकसद उत्तराखंड के विकास के विकास को रोक कर यहां से पहाड़ के लोगों पलायन को बढ़ाना है। इसे कांग्रेस और भाजपा की साझी साजिश करार देते हुए जनमंच ने कहा कि इसीलिए राज्य की कांग्रेस सरकार उमा भारती की यात्रा पर पाबंदी लगाने के बजाय उसे सारी सरकारी सुविधायें उपलब्ध करा रही है। उन्होने कहा कि आरएसएस और उमा भारती की इस साझा यात्रा के विरोध में उत्तराखंड जनमंच 25 अक्तूबर को टिहरी जिले के चंबा में हरिद्वार गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग पर चक्काजाम कर उमा भारती का रास्ता रोकेगा। राज्य के जल संसाधनों पर मैदानी राज्यों के हमले का विरोध करने वाले सभी संगठनों, राजनीतिक दलों, बुद्धिजीवियों और सामाजिक का कार्यकर्ताओं से 25 अक्तूबर को चंबा कूच करने का आह्वान करते हुए टोडरिया ने कहा कि सारे लोगों को राज्य के जल संसाधनों पर बाहरी राज्यों और केंद्र सरकार के हमले के विरोध में एकजुट होना होगा। उन्होने कहा कि राज्य की बिजली प्रोजेक्टों के बारे में बाहरी लोगों को किसी भी हालत में दखल नहीं देने दिया जाएगा।
प्रेस बयान में आंदोलन की रणनीति का खुलासा करते हुए जनमंच के कार्यकरी अध्यक्ष शशिभूषण भट्ट ने बताया है कि 20 अक्तूबर को चंबा, 21 अक्तूबर को नई टिहरी, 22 अक्तूबर को रानीचैरी और 23 अक्तूबर को नागणी में मषाल जुलूस निकालकर उमा भारती की यात्रा के विरोध में वातावरण तैयार किया जाएगा। उन्होने कहा कि जनमंच टिहरी जिले में पर्चे बांटकर लोगों को 25 अक्तूबर को चंबा पहंुचने का आग्रह कर रहा है।
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